Rewa Today Desk : कमिश्नर कार्यालय में अनुसूचित जाति जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम के
तहत गठित संभागीय सलाहकार समिति की बैठक आयोजित की गई। बैठक में कमिश्नर गोपाल चन्द्र डॉड ने कहा
कि अधिनियम के प्रावधानों को पूरी संवेदनशीलता के साथ लागू करें। अत्याचार से पीड़ितों को राहत देने के साथ-
साथ आरोपियों को सजा दिलाने के भी प्रयास करें। प्रकरणों की सुनवाई में आने वाले पीड़ितों तथा गवाहों को
लोक अभियोजक उचित मार्गदर्शन और सलाह दें। जिससे वे न्यायालय में अपना पक्ष मजबूती से प्रस्तुत कर सकें।
आगामी बैठक में राजीनामा से बरी होने वाले आरोपियों के प्रकरणों की जानकारी प्रस्तुत करें। कमिश्नर ने कहा कि
राहत राशि वितरण के लिए सभी जिलों में आवंटन का अभाव है। राहत राशि के वितरण के लिए राशि आवंटन का
तत्काल प्रस्ताव शासन को भेजें।
कमिश्नर ने कहा कि अनुसूचित जाति एवं जनजाति के कल्याण के लिए संचालित योजनाओं का व्यापक
प्रचार-प्रसार करें। अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत दर्ज प्रकरणों में सुनवाई के लिए आने वाले पीड़ितों तथा
गवाहों को मजदूरी, बस किराया तथा आहार व्यय की राशि अनिवार्य रूप से उपलब्ध कराएं। उपायुक्त सभी पुलिस अधीक्षकों को इस मद में राशि आवंटित करें। ट्राईबल विभाग के सभी जिला अधिकारी साप्ताहिक समीक्षा बैठक में राहत राशि से जुड़े जाति प्रमाण पत्रों की सूची कलेक्टर के समक्ष प्रस्तुत करें। कलेक्टर पीड़ितों को तत्काल जाति प्रमाण पत्र जारी कराकर राहत राशि मंजूर करें। उपखण्ड स्तर पर गठित सलाहकार समिति की नियमित बैठक आयोजित करें। बैठक में आईजी एमएस सिकरवार ने कहा कि रिपोर्ट दर्ज कराने के बाद न्यायालय में बयान बदलने वाले फरियादियों के विरूद्ध निर्धारित प्रावधानों के तहत वैधानिक कार्यवाही करें। सभी पुलिस अधीक्षक तथा एडीपीओ अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत दर्ज प्रकरणों की हर माह समीक्षा करें। बैठक में डीआईजी साकेत
पाण्डेय, कलेक्टर रीवा श्रीमती प्रतिभा पाल, कलेक्टर सतना अनुराग वर्मा, कलेक्टर सिंगरौली चन्द्रशेखर शुक्ला,
कलेक्टर सीधी स्वरोचिष सोमवंशी, कलेक्टर मऊगंज अजय श्रीवास्तव, कलेक्टर मैहर रानी बाटड, सभी जिलों के
पुलिस अधीक्षक, जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी, लोक अभियोजक, डीएसपी अजाक विवेक लाल तथा जिला संयोजक उपस्थित रहे।

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